2025 का फेस्टिव सीजन भारतीय वाहन बाजार के लिए ऐतिहासिक बन गया है। केंद्र सरकार ने GST (गुड्स एंड सर्विस टैक्स) में बड़ा बदलाव करते हुए देशभर में बाइक और छोटी गाड़ियों पर टैक्स दरें घटा दी हैं। पहले जहां 350cc तक की बाइक और स्कूटरों पर 28% जीएसटी लगता था, वहीं अब उसी सेगमेंट पर महज 18% जीएसटी देना होगा। इस बदलाव का सीधा असर आम आदमी की जेब पर पड़ा है और अब बाइकें पहले से काफी सस्ती हो गई हैं।
बाइक निर्माता कंपनियों ने भी नए रेट लागू होते ही अपनी प्राइस लिस्ट अपडेट कर दी है। मारुति, हीरो, बजाज, होंडा जैसी बड़ी ऑटो कंपनियों ने कीमतों में कटौती की घोषणा कर दी है। अब बाइक लेने की सोचने वालों को कम ईएमआई और सस्ते डाउन पेमेंट पर बेहतर वैरिएंट्स मिल सकते हैं। नई GST व्यवस्था आम परिवारों के लिए बाइक खरीदना पहले से आसान और किफायती बना रही है.
क्या है GST में बदलाव और कितना है फायदा?
22 सितंबर 2025 से देश में GST 2.0 लागू हुआ है। इसके तहत अब सिर्फ दो टैक्स स्लैब (5% और 18%) मुख्य रूप से रखे गए हैं और कुछ विशेष श्रेणी की चीजों पर 40% जीएसटी लगाया गया है। इससे पहले बाइक, स्कूटर और छोटी कारों पर 28% टैक्स वसूला जाता था, जो अब घटकर 18% रह गया है। इस फैसले से 350cc तक की अधिकांश बाइक और स्कूटर की कीमतों में करीब 10–15% की कमी देखने को मिल रही है।
अब 55,000 रुपये की शुरुआती कीमत में कई बाइक्स आने लगी हैं, जो पहले कम से कम 70–75 हजार रुपये में मिलती थीं। जिससे मिडिल क्लास और नए ग्राहक अच्छी क्वालिटी की बाइक कम दाम में ले रहे हैं। कारों और स्कूटरों की कीमतों में भी बड़ी राहत आई है। इस नए टैक्स स्लैब का सबसे ज्यादा फायदा युवाओं, स्टूडेंट्स, ऑफिस कर्मचारियों और मिडिल क्लास परिवारों को मिला है.
किसे मिलेगा सबसे ज्यादा फायदा?
कम्यूटर बाइक (100cc–150cc), स्कूटर और 350cc तक की मोटरसाइकिल खरीदने वालों को सीधा फायदा मिलेगा। कंपनियां भी स्टॉक क्लियरेंस और नई स्कीम के तहत खास ऑफर्स, नो-कॉस्ट ईएमआई, और फाइनेंसिंग विकल्प दे रही हैं।
350cc से ऊपर की मोटरसाइकिल या प्रीमियम और लक्ज़री गाड़ियों पर टैक्स बढ़ा कर 40% कर दिया गया है, जिससे उनके दाम पहले से अधिक हो सकते हैं। यानी छोटे बजट वालों के लिए बदलाव फायदेमंद हैं, जबकि बड़ी गाड़ियों के शौकीनों को थोड़ी जेब ढीली करनी पड़ेगी.
सरकार और GST 2.0 स्कीम का मुख्य उद्देश्य
नई GST व्यवस्था लागू कर सरकार ने उत्पादन, खपत और बाजार में कारोबार को बढ़ावा देने का रास्ता खोला है। प्रधानमंत्री ने इसे ‘जीएसटी बचत उत्सव’ नाम दिया और कहा कि आम उपभोक्ता की बचत और खरीदारी क्षमता दोनों बढ़ेंगी।
इस पहल के पीछे सरकार का मकसद है कि मिडिल क्लास परिवार बिना अधिक बोझ के अपनी पसंदीदा बाइक या कार घर ला सके। इसका लाभ न केवल उपभोक्ता को मिलता है, बल्कि ऑटो सेक्टर और अर्थव्यवस्था को भी मजबूती मिलती है.
निष्कर्ष
जीएसटी के नए नियम से 18% टैक्स पर छोटी बाइक और स्कूटर पहले से काफी सस्ते मिल रहे हैं। कीमत में 10–15% कटौती और आसान पेमेंट विकल्पों के कारण आम ग्राहक अपने बजट की रेंज में बेहतरीन बाइक खरीद पा रहे हैं। यह बदलाव सभी दोपहिया खरीददारों के लिए राहत और बाजार के लिए नई ऊर्जा लेकर आया है.